परमेश्वराक्षरमाला स्तोत्रम् - अद्भुतविग्रह अमराधीश्वर अ...
देवी देवतांची स्तुती करताना म्हणावयाच्या रचना म्हणजेच स्तोत्रे. स्तोत्रे स्तुतीपर असल्याने, त्यांना कोणतेही वैदिक नियम नाहीत. स्तोत्रांचे पठण केल्याने इच्छित फल प्राप्त होते.
In Hinduism, a Stotra is a hymn of praise, that praise aspects of Devi and Devtas. Stotras are invariably uttered aloud and consist of chanting verses conveying the glory and attributes of God.
अद्भुतविग्रह अमराधीश्वर
अगणितगुणगण अमित शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बसदाशिव
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१॥
आनन्दामृत आश्रितरक्षक
आत्मानन्द महेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२॥
इन्दुकलाधर इन्द्रादिप्रिय
सुन्दररूप सुरेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३॥
ईश सुरेश महेश जनप्रिय
केशवसेवित कीर्ति शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४॥
उरगादिप्रिय उरगविशूषण
नरकविनाश नटेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥५॥
ऊर्जितदानवनाश परात्पर
आर्जितपापविनाश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥६॥
ऋग्वेदश्रुतिमौलिविभूषण
रविचन्द्राग्नित्रिनेत्र शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥७॥
ॠपनमादिप्रपञ्चविलक्षण
तापनिवारण तत्त्व शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥८॥
ऌल्लिस्वरूप सहस्रकरोत्तम
वागीश्वर वरदेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥९॥
ॡताधीश्वररूप प्रिय हर
वेदान्तप्रिय वेद्य शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१०॥
एकानेकस्वरूप सदाशिव
भोगादिप्रिय पूर्ण शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥११॥
ऐश्वर्याश्रय चिन्मय चिद्घन
सच्चिदानन्द सुरेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१२॥
ॐकारप्रिय उरगविभूषण
ह्रींकारप्रिय ईश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१३॥
औरसलालित अन्तकनाशन
गौरिसमेत गिरीश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१४॥
अंबरवास चिदम्बरनायक
तुम्बुरुनारदसेव्य शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१५॥
आहारप्रिय अष्टदिगीश्वर
योगिहृदिप्रियवास शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१६॥
कमलासन कैलासनिवासक
करुणासागरकाशिशिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१७॥
खड्गशूलमृगजटाधनुर्धर
विक्रमरूप विश्वेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१८॥
गंगाधर हर वल्लभ शंकर
गणहित सर्वजनेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥१९॥
घातक पञ्चमपातकनाशन
दीनजनप्रिय दीप्त शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२०॥
ङातस्वरूपानन्द जनाश्रय
वेदस्वरूप वेद्य शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२१॥
चण्डविनाशन सकलजनप्रिय
मण्डलाधीश महेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२२॥
छत्रकिरीटसुकुण्डलादिप्रिय
पुत्रप्रिय भुवनेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२३॥
जन्मजरामृत्यादिविनाशन
कल्मषरहित काशीश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२४॥
झंकाराश्रय भृंगिरिटिप्रिय
ॐकारेश विश्वेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२५॥
ज्ञानाज्ञानविनाशन निर्मल
दीनजनप्रिय दीप्त शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२६॥
टङ्कस्वरूप सहस्रकरोत्तम
वागीश्वर वरदेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२७॥
ठक्काद्यायुधसेवित सुरगण
लावण्यामृतलसित शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२८॥
डंभविनाशनडुण्डुविभूषण
अंबरवास चिदेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥२९॥
ढं ढं डमरुकडरुणा निश्चल
डुण्डुविनायकसेव्य शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३०॥
णाणामणिगणभूषण निर्गुण
नतजनपूत सनाथ शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३१॥
तत्त्वमस्यादिवाक्यस्वरूप
नित्यस्वरूप निजेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३२॥
स्थावरजङ्गमभुवनविचक्षण
तापनिवारण तत्त्व शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३३॥
दन्तिविनाशन दलितमनोन्मय
चन्दनलेपितचरण शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३४॥
धरणीधर शुभ धवलविलासक
धनदादिप्रियधाम शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३५॥
नलिनविलोचन नटनमनोहर
अलिकुलभूषण अमित शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३६॥
पार्वतिनायक पन्नगभूषण
परमानन्द परेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३७॥
फालविलोचन भानुकोटिप्रभ
हालाहलधर अमित शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३८॥
बन्धविमोचन बृहतीपावन
स्कन्दादिप्रिय कनक शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥३९॥
भस्मविलेपन भवभयमोचन
विस्मयरूप विश्वेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४०॥
मन्मथनाशन मधुपानप्रिय
चर्मविलेपन साक्षि शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४१॥
यतिजनहृदयान्तादिनिवासक
विधिविष्ण्वादिसुरेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४२॥
रामेश्वरपुर रमणमुखांबुज
सोमेश्वर सुकृतेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४३॥
लंकाधीश्वरसेवित सुरगण
लावण्यामृतलसित शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४४॥
वरदाभयकर वासुकिभूषण
वनमालादिविभूष शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४५॥
शान्तस्वरूप सहस्रकरोत्तम
वागीश्वर वरदेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४६॥
षण्मुखजनक सुरेन्द्रजनप्रिय
षाड्गुण्यादिसमेत शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४७॥
संसारार्णवनाशन शाश्वत
साधुजनप्रियवास शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४८॥
हर पुरुषोत्तम अद्वैतामृत
मुररिपुसेव्य मृडेश शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥४९॥
ळालितभक्तजनेश्वर काळी-
नतजनपूत सनाथ शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥५०॥
अक्षरमालादिप्रिय सुन्दर साक्षात्
स्वामिन्नम्बसमेत शिव हर ।
साम्बसदाशिव साम्बशिव ॥५१॥
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References : N/A
Last Updated : February 17, 2018
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