हिंदी सूची|हिंदी साहित्य|भजन|सूरदास मदनमोहन| मधुके मतवारे स्याम , खो... सूरदास मदनमोहन नंदजू मेरे मन आनंद भयो, ह... मेरे गति तुमहीं अनेक ... मधुके मतवारे स्याम , खो... चलौ री , मुरली सुनिये ,... दरपन देखत , देखत नाहीं ... हरि जू अजुगत जुगत करे... दुहुँ भाँतिनकौ मैं फल ... हमारी सब ही बात सुधार... भगति बैन हैं सब लोग ... किते दिन बिन बृंदाबन ... ब्रजबासीतें हरिकी सोभा ... ब्रज -सम और कोउ नहिं ... भजन - मधुके मतवारे स्याम , खो... हरिभक्त कवियोंकी भक्तिपूर्ण रचनाओंसे जगत्को सुख-शांती एवं आनंदकी प्राप्ति होती है। Tags : bhajansurdas madanmohanभजनसूरदास मदनमोहन बिलावल Translation - भाषांतर मधुके मतवारे स्याम, खोलौ प्यारे पलकैं । सीस मुकुट लटा छुटी और छुटी अलकैं ॥१॥ सुर-नर-मुनि द्वार ठाढ़ दरसहेतु किलकैं । नासिकाके मोति सोहैं बीच लाल ललकैं ॥२॥ कटि पीताम्बर मुरली कर स्त्रवन-कुँडल झलकैं । सूरदास मदनमोहन दरस दैहौं भलकैं ॥३॥ N/A References : N/A Last Updated : December 21, 2007 Comments | अभिप्राय Comments written here will be public after appropriate moderation. Like us on Facebook to send us a private message. TOP