चैत्री अमा ( हेमाद्री ) -
चैत्र कृष्ण अमावस्याको प्रातः- स्त्रानादिके पीछे यथासामर्थ्य अन्न, गौ, सुवर्ण और पूजन करके ब्राह्मण - भोजन कराये तो बहुत पुण्य होता है । यदि इस दिन सोम, भौम अथवा गुरुवार हो तो ऐसे योगके दान - पुण्य, ब्राह्मण - भोजन और व्रतसे सूर्यग्रहणके समान फल होता है ।